बिहार: शाही लीची की फसल पर अभी से मंडराने लगा खतरा, 15 फीसदी तक फसल चट कर रहे कीड़े

 


बिहार: शाही लीची की फसल पर अभी से मंडराने लगा खतरा, 15 फीसदी तक फसल चट कर रहे कीड़े

Bihar Shahi Lychee: देश के कुल लीची उत्पादन में बिहार की हिस्सेदारी 65 प्रतिशत से ज्यादा है. बिहार का मुजफ्फरपुर जिला लीची उत्पादन का सबसे बड़ा हब है.

बिहार मे लीची की फसल पर अभी से मंडराने लगा खतरा 


पटना/मोतिहारी/ मुजफ्फरपुर. बिहार के मुजफ्फरपुर (Muzaffarpur) जिले का नाम आते ही मन में सबसे पहले लीची (Shahi Lychee) का ख्याल आता है क्योंकि शाही लीची उत्पादन इस इलाके की पहचान है लेकिन शाही लीची के लिये हब के रूप में विकसित मोतिहारी जिले के मेहसी इलाके में लीची उत्पादन करने वाले किसानों के सामने अब बडा संकट खडा हो गया है. मेहसी और आसपास के क्षेत्रों में करीब 8 हजार हेक्टेयर में शाही लीची का उत्पादन होता है लेकिन लीची के पेड़ों में मंजर लगने के साथ ही डाली पर लाल रंग के कीड़े का बड़े पैमाने पर हमला हो गया है. फसल आने से पहले ही कीड़ों को देख किसानों और व्यापारियों के होश उड़ गये हैं.

इन कीटों के हमले से ऐसा लग रहा है कि लीची खाना तो दूर की बात है, पेड़ पर लगे पत्ते भी बचना मुश्किल है. जानकारी के मुताबिक ये कीड़े लीची लगने वाले डंठलों को अब तक 15 प्रतिशत तक चट कर चुके हैं. बिहार में मुजफ्फपुर के बाद मोतिहारी जिले के मेहसी में सबसे ज्यादा लीची का उत्पादन होता है लेकिन पेड़ में स्टीम बग के हमले से लीची के फसल की बर्बादी की आशंका बढ गयी है. बहुत पेड़ों पर लीची के डंठलों में अभी तक दाना भी नहीं निकला हैं लेकिन इन कीट के हमले से ऐसा लग रहा है कि इस बार लीची खाना मुश्किल है. मेहसी और उसके आसपास सटे इलाके में तकरीबन 8 हजार हेक्टेयर में लीची का उत्पादन होता है लेकिन यहां के किसान सिर पीट रहे हैं.

लीची उत्पादन करने वाले किसानों के मुताबिक पिछले चार वर्षों से स्टीम बग नाम के लाल रंग के कीड़े की वजह से लीची के भरोसे जिने वाले किसान फिर से संकट में है. हर वर्ष लीची उत्पादन का क्षेत्र स्टीम बग के प्रकोप से उत्पादन सिमटता जा रहा है लेकिन बिहार सरकार के बागवानी मिशन और कृषि विभाग की ओर से अब तक कोई ठोस पहल नहीं किया जा रहा है. हैरानी की बात यह है कि हर वर्ष यहां के किसान पूंजी लगाकर लीची के लिये पेड़ और जड़ का एरिया को तैयार करते है लेकिन स्टीम बग किट के प्रभाव से किसान अपने अब बगीचे को काटने पर मजबूर हो रहे हैं.



जानकारी के मुताबिक देश के कुल लीची उत्पादन में बिहार की हिस्सेदारी 65 प्रतिशत से ज्यादा है. बिहार में कुल 34,200 हेक्टेयर भूमि पर लीची की खेती की जाती है और इस वर्ष बिहार में चार लाख टन लीची उत्पादन की संभावना है लेकिन इन कीड़ों का हमला कहीं किसानों की आशा पर पानी न फेर दे इसका भया सभी को सता रहा है.​

टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

Happy New Year 2021: नया साल आने में महज 1 दिन बाकी, जानिए किस देश में सबसे पहले मनेगा जश्न

शेरघाटी में बनेगा कोल्ड चेन हाउसा, वैक्सिन की होगी सप्लाई

Coronavirus Vaccine Update: एम्स में कोरोना वैक्सीन के तीसरे चरण का ट्रायल शुरू, पहले दिन 25 वालेंटियर्स को लगा टीम